जानें आवेदन प्रक्रिया और पात्रता
MP Shikshak Bharti – उच्च शिक्षा विभाग ने मध्य प्रदेश के 55 पीएमश्री कॉलेजों में बायोटेक्नोलॉजी और कंप्यूटर साइंस जैसे आधुनिक पाठ्यक्रमों को सत्र 2024-25 से शुरू किया है। इन पाठ्यक्रमों को छात्रों से शानदार प्रतिक्रिया मिली है, और पहले ही वर्ष में 50-50 सीटें पूरी तरह भर चुकी हैं। अब इन पाठ्यक्रमों को पढ़ाने के लिए योग्य शिक्षकों की नियुक्ति की जा रही है।
कौन कर सकता है आवेदन? | MP Shikshak Bharti
उच्च शिक्षा विभाग ने उन शिक्षकों से आवेदन मांगे हैं जो निम्नलिखित योग्यताओं को पूरा करते हैं:
शैक्षणिक योग्यता:बायोटेक्नोलॉजी या कंप्यूटर साइंस में पोस्ट ग्रेजुएशन।
सेवा स्थिति:मध्य प्रदेश के सरकारी कॉलेजों में वर्तमान में पढ़ा रहे शिक्षक।
आवेदन की अंतिम तिथि:इच्छुक शिक्षक 30 जनवरी तक आवेदन कर सकते हैं। Also Read – MP Transfer : एमपी में ट्रांसफर का रास्ता साफ, मोहन यादव सरकार का बड़ा फैसला
पीएमश्री कॉलेजों का महत्व
श्री अटल बिहारी कॉलेज सहित प्रदेश के अन्य 55 कॉलेजों को पीएमश्री कॉलेज के रूप में चुना गया है। इन कॉलेजों में आधुनिक पाठ्यक्रमों के लिए छात्रों की जबरदस्त रुचि देखने को मिली है। यह पहल छात्रों को गुणवत्तापूर्ण शिक्षा और रोजगारोन्मुखी कौशल प्रदान करने की दिशा में एक बड़ा कदम है।
नियुक्ति की प्रकृति | MP Shikshak Bharti
अस्थाई नियुक्ति:यह नियुक्ति अस्थायी होगी और स्थायी शिक्षकों की नियुक्ति प्रक्रिया पूरी होने तक मान्य रहेगी।अस्थायी रूप से नियुक्त शिक्षकों को बाद में उनके मूल कॉलेजों में वापस लौटना होगा।
प्रक्रिया:विभाग की ओर से जारी आदेशों के अनुसार चयन प्रक्रिया संपन्न होगी। Also Read – MP Cabinet Meeting : मध्यप्रदेश कैबिनेट के बड़े फैसले, 17 धार्मिक नगरों में शराबबंदी
आवेदन कैसे करें?
विभाग की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।आवेदन फॉर्म डाउनलोड करें।फॉर्म को सही जानकारी के साथ भरें और निर्धारित समय सीमा के भीतर जमा करें।
छात्रों और शिक्षकों के लिए सुनहरा अवसर | MP Shikshak Bharti
पीएमश्री कॉलेजों में बायोटेक्नोलॉजी और कंप्यूटर साइंस जैसे पाठ्यक्रमों की शुरुआत से छात्रों को नए करियर विकल्प मिलेंगे। वहीं, योग्य शिक्षकों के लिए यह एक शानदार मौका है कि वे इन प्रतिष्ठित संस्थानों में अपनी सेवाएं दें और अपनी विशेषज्ञता को छात्रों के साथ साझा करें। Also Read – MP Wheat : समर्थन मूल्य पर गेहूं उपार्जन का लक्ष्य घटा